सुप्रीम कोर्ट की आड़ में केजरीवाल मनमानी कर रहे

सुप्रीम कोर्ट की आड़ में केजरीवाल मनमानी कर रहे

नयी दिल्ली:-दिल्ली भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा,नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी एवं सांसद मनोज तिवारी ने आज एक संयुक्त प्रेसवार्ता के माध्यम से केंद्र सरकार द्वारा दिल्ली की प्रशासनिक व्यवस्था को सुधारने के लिए लाये गए अध्यादेश का स्वागत करते हुए कहा कि दिल्ली की गरिमा व जनता के हितों के लिए उक्त अध्यादेश लाना जरुरी था।प्रदेश प्रवक्ता हरीश खुराना की उपस्थिति में प्रवक्ता प्रवीण शंकर कपूर ने पत्रकार वार्ता संचालित की।वीरेन्द्र

सचदेवा ने 11 मई से कल रात तक के घटनाक्रम को मीडिया के सामने रखते हुए कहा कि 11 मई को सर्वोच्च न्यायालय की तरफ से निर्णय दिया गया,जिसके बाद मुख्यमंत्री  केजरीवाल व दिल्ली के उपराज्यपाल ने आपसी बैठक की,लेकिन बैठक के बावजूद केजरीवाल की जल्दबाजी एवं अति महत्वकांक्षा का नतीजा है कि 12 मई को ही दिल्ली सरकार अधिकार ना मिलने की शिकायत लेकर सर्वोच्च न्यायालय चली गई और साथ ही सर्विसेज सचिव आशीष मोरे को हटाने की सिफारिश कर डाली।उन्होंने कहा कि इसके बाद 13 मई को मंत्री सौरभ भारद्वाज ने सतर्कता सचिव राजशेखर को हटाने का आदेश जारी कर दिया।मतलब साफ है कि जो अधिकारी केजरीवाल की जांच करेगा, उसे मानसिक रुप से प्रताड़ित करने का काम केजरीवाल सरकार के मंत्री और स्वयं केजरीवाल करेंगे। सचदेवा ने कहा कि इसके बाद मंत्री सौरभ भारद्वाज अधिकारियों के साथ हुए 15 मई की बैठक में सभी अधिकारियों से केजरीवाल सरकार के घोटालों,चाहे वह

फीडबैक यूनिट घोटाला हो या शीशमहल घोटाला हो,शराब घोटाला हो या फिर अन्य घोटाला हो सबकी फाइलें छीनना शुरु कर दिया और 16 मई की रात को अधिकारियों के आफिसों कार्यालय के ताले तोड़कर कागजों की फोटो स्टेट की गई। अगले दिन यानि 17 मई को आशीष मोरे की जगह  ए.के. सिंह को नियुक्त करने की फाइल उपराज्यपाल के पास आई और उसी दिन उपराज्यपाल ने उस फाइल को स्वीकृत करके भेज दिया, लेकिन 18 मई को बिना उपराज्यपाल से बात किए अरविंद केजरीवाल ने ऐलान कर दिया है कि वह मुख्य सचिव को बदलेंगे, जो कि केजरीवाल के अधिकार क्षेत्र में ही नहीं है।दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि यह सब एक योजनाबद्ध साजिश के तहत अंजाम देने की कोशिश की गई। 19 मई को सौरभ भारद्वाज ने ऐलान किया कि सर्विसेज सचिव अभी तक नहीं बदले गए और फिर उसी दिन अपनी आदतों से लाचार आम आदमी पार्टी के पांच मंत्री धरने पर बैठे और अलग से केजरीवाल सौदेबाजी करने उपराज्यपाल से मिलने चले गए।

सचदेवा ने कहा कि आज अरविंद सरकार इस स्तर तक गिर चुकी है कि दिल्ली में बड़े मीडिया हाउसेज के खिलाफ नोटिस बनाने,उन्हे तोड़ने और बिजली-पानी काटने की धमकी दे रही है।क्या यही सब करने केजरीवाल सत्ता में आए थें?अरविंद केजरीवाल ने साबित कर दिया कि वह सर्वोच्च न्यायालय की आड़ में मनमानी कर रहे हैं। सचेदवा ने कहा कि मुख्य सचिव बदले,हालात बदले नही,बदला तो केजरीवाल का दोषारोपण करने का रवैया।

नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी व सांसद मनोज तिवारी ने भी प्रेस कांफ्रेंस में केजरीवाल की नीयत व  सोच पर अफसोस जाहिर करते हुए कहा कि दिल्ली की जनता के हितों की लूट कर डाका डालने पर अमादा हैं।